बुलंदशहर NEWS : जिला बार एसोसिएशन का चुनाव बना अखाड़ा, दोनों पक्षों में जमकर हुई मारपीट,
बुलंदशहर
संवाददाता:अमित सक्सेना
जिला बार एसोसिएशन के चुनाव से पहले वकीलों के दो गुट आपस में भिड़ गए। इस संघर्ष में दोनों पक्षों के वकीलों के बीच जमकर लड़ाई-झगड़ा हुआ, जिससे कई वकील घायल हो गए। चुनाव से पहले हुई इस हिंसक झड़प के बाद पुलिस ने जिला न्यायालय को चारों ओर से घेर लिया है और स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पीएसी (प्रादेशिक आर्म्ड कांस्टेबुलरी) की तैनाती कर दी गई है। पुलिस के कड़े कदमों के बावजूद दोनों पक्ष एक-दूसरे पर गंभीर आरोप लगा रहे हैं।
दो गुटों में बढ़ी तनातनी
जिला बार एसोसिएशन में इन दिनों दो गुटों के बीच संघर्ष की स्थिति बनी हुई है। एक गुट एसोसिएशन के वर्तमान अध्यक्ष धर्मपाल शर्मा का है, जबकि दूसरा गुट पूर्व अध्यक्ष सुमन सिंह राघव का है। दोनों गुट अपने-अपने पक्ष को असली और वैध मानते हुए चुनावी मैदान में उतरे हैं, और एक-दूसरे को चुनौती दे रहे हैं। दोनों पक्षों के बीच यह राजनीतिक संघर्ष इस कदर बढ़ चुका है कि अब यह केवल चुनावी मुद्दों तक सीमित नहीं रहा, बल्कि हिंसा और आरोप-प्रत्यारोप का रूप ले लिया है।
नामांकन प्रक्रिया के बाद चुनावी माहौल
जिला बार एसोसिएशन के चुनाव के लिए नामांकन प्रक्रिया पहले ही पूरी हो चुकी थी। दोनों गुटों ने अपने-अपने प्रत्याशियों को मैदान में उतारा था। गत बृहस्पतिवार को एल्डर्स कमेटी को चुनाव की जिम्मेदारी सौंप दी गई थी, और इसके बाद शुक्रवार से नामांकन प्रक्रिया का आगाज हुआ था। इसके बाद एसोसिएशन की ओर से चुनाव शेड्यूल जारी कर दिया गया था, जिसमें 16 दिसंबर को मतदान होने की तारीख तय की गई थी।
मतदान से पहले हुई हिंसक झड़प
आज चुनाव होने से पहले ही जिला न्यायालय परिसर में दोनों गुटों के बीच हिंसक झड़प हो गई। वकीलों ने एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप की बौछार की और मामले ने धीरे-धीरे मारपीट का रूप ले लिया। जानकारी के अनुसार, दोनों पक्षों के वकीलों के बीच जूतमपैजार हुई और कई वकील घायल हो गए। स्थिति को काबू में करने के लिए पुलिस ने जिला न्यायालय को चारों ओर से घेर लिया और सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी। इसके साथ ही पीएसी को भी तैनात कर दिया गया है ताकि कानून-व्यवस्था बनाए रखा जा सके।
जिला न्यायाधीश का हस्तक्षेप
जिला न्यायालय परिसर में हुई हिंसक घटना के बाद जिला न्यायाधीश ने दोनों पक्षों को तलब किया और मामले की गंभीरता को देखते हुए जिला प्रशासन के आला अधिकारियों को भी बुलाया। इस मामले में जिला न्यायाधीश ने डीएम (जिला मजिस्ट्रेट), एसएसपी (वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक) और दोनों पक्षों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की। इस वार्ता में यह कोशिश की जा रही है कि स्थिति को शांत किया जा सके और चुनावी प्रक्रिया को किसी भी तरह के विघटन से बचाया जा सके।
दोनों पक्षों का आरोप-प्रत्यारोप
इस पूरे घटनाक्रम में दोनों पक्ष एक-दूसरे पर गंभीर आरोप लगा रहे हैं। धर्मपाल शर्मा के समर्थकों का कहना है कि चुनावी प्रक्रिया में सुमन सिंह राघव गुट द्वारा गड़बड़ी की जा रही है, वहीं सुमन सिंह राघव के समर्थकों का आरोप है कि धर्मपाल शर्मा गुट चुनाव में धोखाधड़ी कर रहा है। इस आरोप-प्रत्यारोप के बीच दोनों गुटों के बीच तनाव और बढ़ गया है।
चुनाव पर संकट
चुनाव से पहले हुई इस हिंसक घटना ने जिला बार एसोसिएशन के चुनावी माहौल को तनावपूर्ण बना दिया है। चुनावी प्रक्रिया की शुरुआत से पहले ही इस तरह की झड़पें होने से यह सवाल उठने लगा है कि क्या आगामी चुनाव निष्पक्ष और शांतिपूर्ण तरीके से हो पाएंगे। इस स्थिति में जिला न्यायालय और जिला प्रशासन के सामने चुनौती है कि वे जल्द से जल्द मामले को सुलझाकर चुनाव प्रक्रिया को बिना किसी और विवाद के संपन्न कराएं।
जिला न्यायालय और पुलिस की भूमिका
जिला न्यायालय ने दोनों पक्षों को तलब किया और स्थिति को नियंत्रित करने के लिए प्रशासनिक स्तर पर कदम उठाए। पुलिस ने भी त्वरित कार्रवाई करते हुए चुनावी माहौल में शांति बनाए रखने के लिए जिले भर में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी है। पीएसी की तैनाती और जिला न्यायालय के चारों ओर घेराबंदी से यह स्पष्ट हो गया है कि प्रशासन इस घटना को हल्के में नहीं ले रहा है और हर संभव प्रयास कर रहा है कि चुनाव शांतिपूर्वक संपन्न हो।
आगे की स्थिति और चुनाव पर असर
यह घटना जिला बार एसोसिएशन के चुनावों पर गंभीर असर डाल सकती है, क्योंकि चुनावी प्रक्रिया में पहले ही विवाद बढ़ चुका है। दोनों गुटों के बीच हुई हिंसा से न केवल वकीलों में डर और आक्रोश बढ़ा है, बल्कि आम जनता में भी यह सवाल उठने लगा है कि क्या इस चुनाव में निष्पक्षता बरती जाएगी। चुनावों के निष्कलंक आयोजन के लिए अब जिला प्रशासन को और भी सख्त कदम उठाने की आवश्यकता है ताकि ऐसी घटनाओं से बचा जा सके और लोकतांत्रिक प्रक्रिया का सम्मान किया जा सके।